चैती मिथिला क्षेत्र में गावल जाए वाली लोकगीत शैली हवे। उत्तर प्रदेशबिहार में प्रचलित चइत महीना के गीत चइता के मिथिला क्षेत्र में चैती कहल जाला।[1][2]

बाद के समय में एह लोकगीत शैली[3] पर आधारित उपशास्त्रीय गायन के बिधा भी चैती के नाँव से जानल जाले।[4] बनारस के संगीत घराना से चैती आ कजरी के उपशास्त्रीय गायन के रूप में प्रतिष्ठा मानल जाला। गिरिजा देवी प्रसिद्ध चैती गायिका के रूप में जानल जाली।


संदर्भ संपादन करीं

  1. "Trdition of singing 'Chaita' folk songs are alive in Bihar - patna news in hindi, Navbharat Times" (हिंदी में). Navbharattimes.indiatimes.com. Retrieved 2017-03-08.
  2. "चैत्र माह में 'चैता गीतों' का है अलग महत्व | News Wing of Hindi Regions of India- Bihar, MP, UP, Chhattisgarh, Jharkhand, Delhi and around in Hindi & English" (हिंदी में). Newswing.com. 2012-04-01. Retrieved 2017-03-08.
  3. Ashok Damodar Ranade (1 जनवरी 2006). Music Contexts: A Concise Dictionary of Hindustani Music. Bibliophile South Asia. pp. 78–. ISBN 978-81-85002-63-7.
  4. Aneesh Pradhan (21 मार्च 2016). Hindustani Music: Ways of Listening. BookBaby. pp. 83–. ISBN 978-1-4835-6483-8.[मुर्दा कड़ी]