नेशनलिज्म

राजनीतिक आ सामाजिक कांसेप्ट, आइडिया आ आन्दोलन

नेशनलिज्म (अंग्रेजी: nationalism, हिंदी: राष्ट्रवाद) अइसन आइडिया आ आंदोलन ह जे ई माने की 'नेशन' (राष्ट्र भा जाति) आ 'स्टेट' (राज्य) सर्वांगसम होखे के चाहीं। आंदोलन के रूप में ई 'नेशन' क मौजूदगी पहिले से स्थापित मान के चले ला आ कौनों नेशन बिसेस के हित के आगे बढ़ावे के टेंडेंसी (रुझान) रखे ला; बिसेस रूप से ओह नेशन के घरेलू भूगोलीय क्षेत्र (होमलैंड) के खातिर संप्रभुता (सावरेननिटी) हासिल करे आ ओकरा के नेशन-स्टेट बनावे के टार्गेट रखे ला। एह बिचारधारा के ई मान्यता बाटे की कौनों नेशन के खुदशासित होखे के चाहीं, कवनहूँ किसिम के बाहरी हस्तक्षेप से आजाद होखे के चाहीं; नेशन अपने आप में सभसे नीक (आइडियल) आधार ह राजनीति (पॉलिटी) खातिर; आ नेशन अपने आप में राजनीतिक पावर क एकलौता आ सही सोर्स होला। एकर लक्ष्य एगो नेशनल पहिचान अस्थापित करे के होला जे सझिया सामाजिक लच्छन सभ के कंबीनेशन जइसे की संस्कृति, भाषा, एथनिसिटी, भूगोलीय लोकेशन, राजनीति (चाहे सरकार), धर्म, रीति-रेवाज, आ सझिया सिंगल इतिहास सभ पर आधारित; आ नेशनल एकता आ मजबूत समेकता के बढ़ावा देला। एह तरीका से नेशनलिज्म कौनों नेशन के परंपरागत संस्कृति के संरक्षित करे आ ओकरा के बढ़ावा देवे, ओकर संबर्धन करे के कोसिस करे ला।

नेशनलिज्म यूरोपीय कांसेप्ट ह। फ्रांसीसी क्रांति आ जर्मन नेशनलिज्म आ ओकरा बाद जर्मनी के एकीकरण के दौर एकरे बढ़े के सभसे प्रमुख कालखंड हवें। हिंदी में 'नेशन' शब्द खातिर 'राष्ट्र' शब्द के इस्तेमाल होला आ नेशनलिज्म खातिर 'राष्ट्रवाद' के, बंगाली भाषा में नेशन खातिर 'जाति' आ नेशनलिज्म खातिर 'जातीयतावाद' क प्रयोग मिले ला, उर्दूपंजाबी में नेशन खातिर 'क़ौम' आ नेशनलिज्म खातिर 'क़ौमपरस्ती' इस्तेमाल होला। प्राचीन संस्कृत में 'राष्ट्र' शब्द कौनों एक ठो राजा के द्वारा शासित होखे वाला भूगोलीय क्षेत्र के अरथ में इस्तेमाल भइल मिले ला। हालाँकि, बाद में हिंदी में अनुबाद करत समय अंग्रेजी के नेशन के संगत राष्ट्र शब्द आ नेशनलिज्म के संगत राष्ट्रवाद के इस्तेमाल कइल गइल।

खुद 'नेशन' शब्द आ कांसेप्ट के कई किसिम के परिभाषा दिहल गइल बाड़ी स आ एकरा चलते बिबिध किसिम के नेशनलिज्म पैदा भइल बाड़ें। इनहन में दू गो प्रमुख प्रकार भा किसिम हवें - एथनिक नेशनलिज्म आ सिविक नेशनलिज्म।