रोटी चाहे फुलकी चाहे चपाती भारतीय भोजन क चीज हवे जेवन पिसान (आटा) के पानी में सान के आ ओकर लोई बना के चौकी बेलना से बेल के तावा पर सेंक के बनावल जाला। अधिकतर ए के गोहूँ (गेहूँ) की आटा से बनावल जाला लेकिन कब्बो-कब्बो गोजई आ जनेरा की आटा क बनावल जाला। अउरी अनाजन में जव, चन्ना, बजड़ा, आ बजड़ी क रोटी बनेला। जब ए के तावा पर सेंकल जाला त तावा रोटी कहल जाला आ इहे घर में बनेला। लेकिन बजार में होटल आ ढाबा पर ए के तंदूर में सेंकल जाला तब ए के तंदूरी रोटी कहल जाला।

प्लेट में सजा के रक्खल रोटी

भारतीय रोटी भारत, पाकिस्तान,नेपाल, श्री लंका, बांग्लादेश, इंडोनेशिया, मलेशिया में खाइल जाले। एकरी अलावा ई दक्षिण अफ्रीका आ सूरीनाम, त्रिनिदाद टोबैगो में जहाँ-जहाँ भारत से लोग गइल बा उहाँ खाइल जाले।

रोटी क परकार

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चूल्हा की आँच से रोटी बनवला क बिधि

दुनिया में अलग-अलग देसन में अलग अलग तरीका से रोटी बनावल जाला आ एही से एकर बहुत परकार बाटे। इहँवा एगो संछेप लिस्ट दिहल जात बा:

इहो देखल जाय

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